खबर सासाराम से है। काराकाट के माले विधायक अरुण कुमार ने जमीन के सर्वे की प्रक्रिया पर सवाल खड़े किए है तथा कहा है कि यह पूरी प्रक्रिया आम लोगों को परेशान करने वाला है। विभाग द्वारा जो दिशा निर्देश जारी किया गया है, स्थानीय स्तर पर अधिकारी तथा कर्मचारी उसका पालन नहीं कर रहे हैं। ऐसे में बेवजह ग्रामीण क्षेत्रों में आम लोग परेशान हैं। उन्होंने सासाराम में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि जैसा कि पहले बताया गया कि ज्यादातर जानकारियां लोगों का स्वघोषित करनी है। लेकिन सरकारी कार्यालय लोगों से एफिडेविट मांग रही है। अब ऐसे में एफिडेविट बनाने के लिए लंबी कतार लगी हुई है। ऐसे गरीब लोग जो सरकारी जमीन पर वर्षों से रह रहे हैं। उन लोगों की चिंता जाहिर की तथा कहा कि उनके पास किसी तरह का कोई कागज नहीं है। इस सर्वे से पहले सरकार को ऐसे तमाम भूमिहीनों को जमीन का कागज दे देना चाहिए। लेकिन ऐसा लग रहा है कि सरकारी जमीन पर रहने वाले भूमिहीनों को बेदखल करने की रणनीति पर सरकार काम कर रही है।
Report By :- Avinash Srivastav